23 March, 2006

साँफ्टवेअर शायरी

कोड बनते है.....रिलिज का समा होता है...
ऐसे मौसमे ही तो बग जवां होता है...
दिल की खुन्नस पि. एम. जबा से नहीं कहते...
ये अफसाना तो अँप्रेजल में बयान होता है...

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